उन्हें नहीं है
रोटी की चिंता
कोई आकर बना जाता है
वे सिर्फ खाने में माहिर हैं
बड़ी तबियत से खाते हैं
पचा भी लेते हैं .....
वो जो आकर
सेंक जाता है रोटियां
उनके लिए
उन्हें वे
हरामखोर कहते है ..
रोटी की चिंता
कोई आकर बना जाता है
वे सिर्फ खाने में माहिर हैं
बड़ी तबियत से खाते हैं
पचा भी लेते हैं .....
वो जो आकर
सेंक जाता है रोटियां
उनके लिए
उन्हें वे
हरामखोर कहते है ..
वो जो आकर
ReplyDeleteसेंक जाता है रोटियां
उनके लिए
उन्हें वे
हरामखोर कहते है ..सही है
बिल्कुल सच कहा है ...
ReplyDeleteसच कहा है......शब्द शब्द बाँध लेता है ...बधाई स्वीकारें
ReplyDeleteआभार आप सभी का ..................
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